चमोली जेल से आजीवन सजा याफ्ता कैदी फरार।

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फरार आरोपी

देहरादून चमोली पुलिस को झटका देकर जिला कारागार पुरसाड़ी में पॉक्सो में आजीवन कैद की सजा काट रहे नवीन चंद्र कोर्ट से जेल ले जाते समय पुलिसकर्मियों को चकमा देकर फरार हो गया। उसका पीछा करने वाले पुलिसकर्मियों ने बताया कि कैदी अलकनंदा नदी में कूद गया। नवीन इससे पहले भी जेल से फरार हुआ था। पुलिस अधीक्षक ने बताया कि एसडीआरएफ की ओर से अलकनंदा नदी में सर्च अभियान चलाया जा रहा है। 

पुलिस के मुताबिक शुक्रवार को जिला कारागार से तीन कैदियों को गोपेश्वर न्यायालय लाया था। इनमें नवीन चंद्र निवासी ग्राम रांगतोली चमोली व दीपक राणा को एक ही हथकड़ी से बांधा था। नवीन नाबालिग का अपहरण कर दुष्कर्म के मामले में सजायाफ्ता है। बताया कि पुलिस वाहन से तीन पुलिसकर्मी उन्हें वापस जेल में दाखिल करने जा रहे थे। इस दौरान बदरीनाथ हाईवे पर जेल के मुख्य द्वार से जेल तक तीनों व्यक्तियों को पुलिस पैदल ही लेकर जा रही थी। जेल परिसर में ही जेल के अंदर दाखिल करने के दौरान गेट के पास नवीन ने झटके से हथकड़ी से हाथ को निकालकर दौड़ अलकनंदा की ओर दौड़ लगा दी। दो पुलिस कर्मी भी उसके पीछे भागे, लेकिन उसे पकड़ने में सफलता नहीं मिली। दोनों पुलिसकर्मियों ने बताया कि कैदी अलकनंदा नदी में कूद गया है। पुलिस अधीक्षक यशवंत सिंह चौहान के बताया कि नवीन का पीछा कर रहे पुलिस कर्मियों ने उसे अलकनंदा में छलांग लगाते देखा है। हालांकि, जेलर प्रमोद पांडे ने बताया कि कारागार में दाखिल होने से पहले ही नवीन भागकर पुरसाड़ी गांव के पास के रास्ते से एक किमी तक दौड़ते हुए नदी किनारे पहुंचा। 

नाबालिग के अपहरण व दुष्कर्म का दोषी है नवीन 

25 वर्षीय नवीन का आपराधिक इतिहास गंभीर है। आठ मार्च 2018 को उसे नाबालिग के अपहरण व दुष्कर्म के मामले में पोक्सो में गिरफ्तार किया था। पुलिस ने उसे नेपाल से पकड़ा था। नवीन को पॉक्सो में नवंबर 2018 को आजीवन कारावास की सजा हुई थी। जेल में ही रहते हुए उसने एक अन्य आरोपित को साथ लेकर एक सितंबर 2020 को जिला कारागार पुरसाड़ी से फरार हो गया था। नवीन को पुलिस ने आठ सितंबर को तब जंगल से गिरफ्तार किया था, जब वह दुष्कर्म पीडि़ता के गांव जा रहा था। वहीं नवीन का साथी नेपाल मूल के दीपक राणा को पुलिस ने तीन सितंबर को भी पकड़ दिया था। तब से इन दोनों को जेल में विशेष निगरानी मेंं रखा जा रहा था।