देहरादून राज्य के आबकारी महकमे में नित नए सामने आ रहे मामलो से विभाग की चर्चाएं कम होने का नाम नही ले रही है। आबकारी इंस्पेक्टर के अधिकार छीनकर सब इंस्पेक्टर को दिए जाने की चर्चाओ व रुड़की में हुए एक आदेश को लेकर आबकारी महकमे के इंस्पेक्टर में आक्रोश व्याप्त हो गया है।मामले को लेकर अब इंस्पेक्टर राज्य के मुखिया व विभागीय मंत्री सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत से मिलेंगे। इन्हें सोमवार का समय भी मिल गया है।इंस्पेक्टर के आधीन आने वाले सब इंस्पेक्टर को लेकर आबकारी मुख्यालय से जारी एक आदेश के बाद ये स्थिति पैदा हुई है।
इंस्पेक्टर एसो के अध्य्क्ष शिव प्रसाद व्यास के मुताबिक आबकारी मुख्यालय से सीधे सीधे एक्ट के विरुद्ध आदेश हुए है।वही एक पत्रावली तैयार की जा रही है जिसमे सब इंस्पेक्टर इंस्पेक्टर स्तर का काम करेंगे।एक्ट के मुताबिक सब इंस्पेक्टर सिर्फ चीनी मिल सम्बन्धी काम।देख सकते है।उनके पास निकासी सम्बन्धी काम का कोई अधिकार नही है।एफएल 2 व cl2 से निकासी का।अधिकार सिर्फ इंस्पेक्टर है ।जब इंस्पेक्टर के मातहत आने वाले सब इंस्पेक्टर ही इंस्पेक्टर के काम करेंगे तो मॉनिटरिंग कैसे होगी। सवाल ये भी है की रुड़की में एक सब इंस्पेक्टर को नियम व एक्ट के विरुद्ध आदेश क्यो किये गए है। यदि आदेश ही होने थे तो किसी इंस्पेक्टर को चार्ज दिया जा सकता था।वही उप आबकारी एसो के अध्य्क्ष किशन सिंह चौहान के मुताबिक फिर सब इंस्पेक्टर का विभाग में काम ही क्या है।राज्य में सिर्फ 10 चीनी मिलें ही है जबकि 63 सब इंस्पेक्टर है यदि मुख्यालय के आदेशों का विरोध होता है तो हम भी अपना विरोध दर्ज कराएंगे।