उत्तराखंड के चमोली में पुलिस अधीक्षक प्रमेन्द्र डोभाल के द्वारा नशे के खिलाफ चलाए जा रहे अभियान में उन्हीं के अधिनस्थ पलीता लगा रहे हैं,पुलिसिंग की साख पर बट्टा लगाने का एक प्रकरण नंदानगर घाट से सामने आया हैं।जंहा बीते दिनों पुलिस और एसओजी के जवानो द्वारा चरस की बड़ी खेफ ले जाकर मैदानी क्षेत्र में जा रहे एक तस्कर को पकड़ा गया था।लेकिन आरोप है कि तस्कर को लेनदेन कर छोड़ दिया गया। मामले की भनक एसपी को लग जाने के बाद नंदानगर घाट चौकी के एएसआई सहित एसओजी के दो कांस्टेबलों को निलंबित कर दिए गए । पुलिस अधीक्षक प्रमेंद्र सिंह डोबाल ने बताया कि घटना की जांच पुलिस अधीक्षक कर्णप्रयाग को सौंपी गई है।
घटना 24 नवंबर की बताई गई है। बताया गया कि नंदानगर घाट में चरस की खेफ मैदानी क्षेत्रों में ले जा रहे तस्करों को लेकर पुलिस को जागरुक नागरिक द्वारा जानकारी दी गई थी। इस आधार पर घाट के तत्कालीन प्रभारी चौकी इंचार्ज एएसआई कृष्ण कुमार , एसओजी कांस्टेबल महेंद्र व यतेंद्र के साथ तस्करों के ठिकाने पर दबिश दी गई। बताया गया कि पुलिस के हाथ एक व्यक्ति लगा जिसके पास से चरस भी बरामद हुई। पुलिस इसे चौकी भी लाई । बताया गया कि चौकी प्रभारी अवकाश पर होने के चलते एएसआई सहित एसओजी कांस्टेबलों ने चरस के साथ पकड़े गए आरोपित पर न कार्रवाई की ओर न ही आला अधिकारियों को यह जानकारी दी। पुलिस अधीक्षक को इस घटना की सूचना मिली तो पुलिस हरकत में आ गई। बताया गया कि इसमें भारी भरकम पैसो का लेन देन भी हुआ है। पुलिस अधीक्षक प्रमेंद्र सिंह डोबाल ने कहा कि मामले में जांच का जिम्मा पुलिस उपाधीक्षक कर्णप्रयाग को सौंपा गया है। उन्होंने कहा कि मामले में कर्तव्यों में लापरवाही सहित चरस तस्कर के साथ मिलीभगत की प्रथम दृष्टया पुष्टि होने पर नंदा नगर चौकी में तैनात एएसआई सहित दो एसओजी कांस्टेबलों को निलंबित किया गया है। बताया गया कि चौकी में लगे सीसीटीवी कैमरों में भी छेडखानी हुई है। हालांकि बाजार में लगे अन्य सीसीटीवी कैमरों में आरोपित व पुलिस कर्मी साफ दिखाई दे रहे हैं।