एसटीएफ के खुलासे के बाद देश भर से सामने आने लगे ठगी के शिकार।

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पुलिस महानिदेशक अशोक कुमार

देहरादून एसटीएफ के स्पेशल 26 फ़िल्म की तर्ज पर बेरोजगार युवक/यवतियों से ठगी के खुलासे के बाद देश के अलग अलग इलाको से ठगों के शिकार पीड़ित एसटीएफ के सामने आने लगे। इसी क्रम में ठगों के खिलाफ एक और मुकदमा दर्ज किया गया है।

  देहरादून निवासी एक महिला के साथ इसी प्रकार की घटना घटित हुयी थी जिसमें शिकायतकर्ता को Food Corporation of India (FCI) विभाग में नौकरी दिलाने की बात कही गयी। जिस पर विश्वास करते हुये शिकायतकर्ता द्वारा ऑनलाईन व कुछ नगद के माध्यम से करीब 07 लाख रुपये अभियुक्तगणो के बैंक खातो में डाली गयी । अभियुक्तगणो द्वारा शिकायतकर्ता को विश्वास मे लेने हेतु पुलिस वेरिफिकेशन भी करवाया जिससे पीडित बेरोजगारो को विश्वास हो जाये की उनकी नौकरी वास्तव मे लग गयी है, इसके उपरान्त उसे FCI का आई0 कार्ड व ज्वानिंग लैटर भी दिया गया । शिकायतकर्ता द्वारा दिये गये प्रार्थना पत्र के आधार पर साईबर क्राईम पुलिस स्टेशन देहरादून पर मु0अ0सं0 04/21 धारा 420, 467, 468, 471, 120बी भादवि व 66(डी) आईटी एक्ट का अभियोग पंजीकृत किया गया । 

  01 अभियुक्त को गिरफ्तार कर जेल भेजा जा चुका है। गिरोह के अन्य सदस्यो की तलाश जारी है । 

अपराध का तरीका- अभियुक्तगणो द्वारा बेरोजगार लड़के व लडकियों को FCI, Railway, AIIMS आदि मे नौकरी लगाने के नाम पर उनसे लाखो रुपये अपने अपने बैंक खातो मे प्राप्त करना व कई बार नौकरी मांगने वालो बेरोजगार युवको के खातो मे पैसे मंगवाकर फिर स्वंय उस पैसे को ले लेना। बेरोजगार लडके लडकियो का लखनऊ, गोरखपुर, दिल्ली आदि जगहो पर फर्जी तरीके से पुलिस वेरिफिकेशन, मेडिकल, training, Interview कराना और उन्हे फर्जी Joining letter, पहचान पत्र देना, व सरकारी विभागो की फर्जी ईमेल आईडी बनाकर बेरोजगार युवक/युवतियों को उस ई-मेल आईडी से नौकरी के सम्बन्ध मे मेल करना।
प्रभारी एस0टी0एफ0 उत्तराखण्ड द्वारा जनता से अपील की है कि नौकरी दिलाने वाले व्यक्तियो के बहकावे मे न आये । कोई भी शक होने पर तत्काल निकटतम पुलिस स्टेशन अथवा साईबर क्राईम पुलिस स्टेशन देहरादून से सम्पर्क करें।